21.1 C
Ranchi
Saturday, February 8, 2025 | 12:18 pm
21.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

भूतों का खौफ! झारखंड के इस जिले में 3 शिक्षकों की मौत के बाद हुआ था स्कूल बंद, अब DSE ने दिया यह निर्देश

Advertisement

भूत-प्रेत का नाम सुनते ही लोगों के पसीने छूटने लगते है. लोगों को डर सताने लगता है. लोग वहां जाने से कतराने लगते हैं. ऐसा ही कुछ हाल है झारखंड के जामताड़ा जिले के एक स्कूल का. इस स्कूल में अभिभावक अपने बच्चों को भेजने से डरते हैं. तो आइये जनते हैं क्या है पूरा मामला...

Audio Book

ऑडियो सुनें

झारखंड के जामताड़ा जिले में एक ऐसा स्कूल है, जहां माता-पिता अपने बच्चों को भेजने से डरते हैं. इस स्कूल में कथित तौर पर भूतों का वास है. जिसके कारण अभिभावक अपने बच्चों को करीब एक महीने से स्कूल में पढ़ने नहीं भेज रहे थे. यह मामला फतेहपुर प्रखंड के उत्क्रमित प्राथमिक विद्यालय छोटूडीह का है. लोगों का कहना है कि स्कूल के आसपास से भी गुजरने में डर लगता है. हालांकि, मंगलवार को डीएसई दीपक राम स्कूल का जायजा लेने पहुंचे और विद्यालय का निरीक्षण किया. जिसके बाद डीएसई ने 29 मार्च से स्कूल में पठन-पाठन कराने को लेकर आवश्यक दिशा निर्देश भी दिया.

- Advertisement -

क्या कहते हैं डीएसई

प्राथमिक विद्यालय छोटूडीह का जायजा लेने के दौरान डीएसई दीपक ने विद्यालय में तालाबंदी पाया. जिसके बाद मौके पर डीएसई ने ग्रामीण, शिक्षक और रसोईया आदि को बुलाकर अंधविश्वास के खिलाफ जागरूक किया. उन्होंने बीईओ और सीआरपी को बुधवार से स्कूल में पठन-पाठन कराने को लेकर आवश्यक दिशा निर्देश भी दिया. आगे डीएसई दीपक राम ने कहा कि शिक्षक विद्यालय में पढ़ाना प्रारंभ करें और मन का भ्रम दूर करें. उन्होंने कहा कि ग्रामीणों और शिक्षक को भ्रम था कि कोई शक्ति उन्हें परेशान कर रही है. साथ ही आश्वस्त किया कि प्रेत जैसी कोई बात नहीं होती है. उन्होंने कहा कि बुधवार से विद्यालय में पठन-पाठन कराने को लेकर बीइईओ और सीआरपी को लगाया गया है और विद्यालय में पठन-पाठन हो. इसकी व्यक्तिगत रूप से मॉनिटरिंग करेंगे और लोगों को मोटिवेट करेंगे. डीएसई के निर्देश के बाद स्कूल खोल तो दिया लेकिन कुछ ही बच्चे स्कूल में पढ़ने के लिए आये.

स्कूल जाने से क्यों डरते हैं लोग

बता दें कि उत्क्रमित प्राथमिक विद्यालय छोटूडीह में काम करने वाले तीन लोगों की अचानक मौत हो गई है. जिसमें से सबसे पहले स्कूल के शिक्षक बाबूधन मुर्मू थे. जिसकी असमय मौत हो चुकी थी. वहीं शिक्षक के मौत के बाद जब उनके पुत्र के द्वारा विद्यालय आकर छात्रों को पढ़ाने का प्रयास किया गया तो उसकी भी मौत हो गई. इतना ही नहीं स्कूल के रसोईया छातामुनी मुर्मू की भी मौत महज 30 वर्ष की उम्र में अचानक हो गई थी. जिसके कारण लोगों में डर का माहौल पैदा हो गया. बच्चे स्कूल जाना छोड़ दिये. फिलहाल, इसी विद्यालय में कार्यरत शिक्षक नुनुधन मुर्मू है, जो अब ऐसी बीमारी की जकड़ में आ चुके है कि वे अपने बिस्तर से बिना सहारा उठ भी नहीं सकते हैं. ऐसे में इकलौते बचे शिक्षक सुरेंद्र टुडू हाल फिलहाल बीमार चल रहे हैं. लगभग एक माह तक अस्पताल में भर्ती थे. वे अब विद्यालय के भवन को छोड़कर कर बच्चों को निजी मकान में पढ़ाते हैं.

Also Read: रांची से अब श्रीनगर जाना होगा आसान, बादलों के बीच से गुजरेगी यह ट्रेन, जानें पूरी डिटेल्स

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें