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Jharkhand News : दिव्यांग आंगनबाड़ी सेविका को नौ माह से नहीं मिला था मानदेय, इलाज के अभाव में हुई मौत

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Jharkhand News : झारखंड के पूर्वी सिंहभूम जिले के घाटशिला प्रखंड के महुलिया आंगनबाड़ी केंद्र की सेविका नियती मंडल की बीमारी से मौत हो गयी. वह अविवाहित थी. देखभाल करने वाला कोई नहीं था. वह दिव्यांग भी थी. सेविका को जो मानदेय मिलता था उसी से गुजारा होता था. पिछले नौ माह से मानदेय नहीं मिला था.

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Jharkhand News : झारखंड के पूर्वी सिंहभूम जिले के घाटशिला प्रखंड के महुलिया आंगनबाड़ी केंद्र की सेविका नियती मंडल की गुरुवार को बीमारी से मौत हो गयी. वह अविवाहित थी. देखभाल करने वाला कोई नहीं था. वह दिव्यांग भी थी. सेविका को जो मानदेय मिलता था उसी से गुजारा होता था. पिछले नौ माह से मानदेय नहीं मिला था. इससे वह अपना सही से इलाज नहीं करा सकी. सूचना मिलने पर सेविका संपा दत्ता, शारदा मनी भकत, सुनीता साव, मनीवाला गोप, जिप सदस्य सुभाष सिंह, मुखिया प्रतिनिधि स्वपन मंडल पहुंचे थे. गांव के लोग भी पहुंचे.

झारखंड के पूर्वी सिंहभूम जिले के घाटशिला प्रखंड के महुलिया आंगनबाड़ी केंद्र की सेविका नियती मंडल की गुरुवार को बीमारी से मौत हो गयी. वह अविवाहित थी. देखभाल करने वाला कोई नहीं था. वह दिव्यांग भी थी. सेविकाओं ने बताया कि हमलोगों को नौ माह से मानदेय नहीं मिल रहा है. नियती मंडल दिव्यांग थी. मानदेय से गुजारा होता था. उसका कोई नहीं था. वह पिछले कई दिनों से बीमार थी. पैसों के अभाव में बेहतर इलाज नहीं करा सकी. इससे उसकी मौत हो गयी. मौत के एक दिन पहले उसे तेज बुखार था. पड़ोस के लोगों ने दवा खिलाई थी. इससे दिन में बुखार उतरा था. पर रात में तबीयत बिगड़ने पर घर में ही मौत हो गयी. इस घटना से सेविकाएं मर्माहत हैं.

घाटशिला की सीडीपीओ सुप्रिया शर्मा कहती हैं कि घाटशिला प्रखंड में 148 आंगनबाड़ी केंद्र हैं. इसमें सिर्फ एक केंद्र कासपानी में सेविका बहाल नहीं है. बाकी 147 में सेविका और सहायिका कार्यरत हैं. आवंटन के अभाव में कई माह से सेविका-सहायिकाओं को मानदेय नहीं मिला है. आंगनबाड़ी में अप्रैल तक पोषाहार का आवंटन मिला है, पर मानदेय का आवंटन नहीं मिला है. नियती मंडल महुलिया की सेविका के रूप में कार्यरत थी. उसकी मौत कैसे हुई यह मुझे पता नहीं है.

Posted By : Guru Swarup Mishra

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