18.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

पुरखों को याद करने का दिन है कब्र पूजा, गुमला धर्मप्रांत के 39 पल्लियों में होगी विशेष प्रार्थना

Advertisement

दो नवंबर को कब्र पूजा है. इसको लेकर गुमला में ईसाई मिशनरियों ने करीब 750 कब्र की सफाई की. बुधवार को गुमला धर्मप्रांत के 39 पल्लियों में कब्र पूजा होगी. इस दौरान सभी कब्रों में मोमबत्ती जलायी जायेगी और प्रार्थना होगी.

Audio Book

ऑडियो सुनें

Grave Worship Special: ईसाई मिशनरी बुधवार (दो नवंबर, 2022) को कब्र पूजा करेंगे और अपने पूर्वजों लिए विशेष प्रार्थना करेंगे. गुमला धर्मप्रांत के सभी 39 पल्लियों (चर्च) में स्थित करीब 750 सात सौ पचास कब्र में पूजा पाठ होगी. बीते 15 दिनों से कब्र पूजा की तैयारी चल रही थी, जो मंगलवार को पूरी हो गयी. बुधवार (दो नवंबर) को कब्र को फूल माला एवं मोमबत्ती से सजाया जायेगा.

- Advertisement -

जीवन एवं मरण एक ही सिक्के के दो पहलू

कब्र पूजा पर बिशप हाउस के प्रवक्ता फादर सीप्रियन कुल्लू ने बताया कि जन्म और मृत्यु एक ही सिक्के के दो पहलू हैं. ख्रीस्त विश्वास की मान्यता के अनुसार, जो मनुष्य मरता है, उसका दोबारा जन्म होता है. मरना जीवन का अंत नहीं, बल्कि शुरुआत है. मनुष्य का संबंध मृत आत्माओं से है, क्योंकि जो मरे हैं, वे हमारे अपने हैं. आज हम मृत आत्माओं के लिए प्रार्थना करें. अपने जीवन काल में पूर्वजों ने जो पाप एवं बुराई किया और ईश्वर से माफी नहीं मांगी. हम इसके लिए माफी मांगे. साथ ही अपने अंदर की छुपी बुराई एवं शैतान को मारे. गुमला के पल्ली पुरोहित फादर जेरोम एक्का ने कहा कि गुमला के संत पात्रिक चर्च स्थित कब्र में दिन के 3.00 बजे पूजा होगी. गुमला धर्मप्रांत के मुख्य प्रशासक फादर लिनुस पिंगल एक्का द्वारा पूजा कराया जायेगा.

बिशपों के कब्र में होगी पूजा

गुमला धर्मप्रांत के प्रथम बिशप माइकल मिंज एवं द्वितीय बिशप पॉल अलविस लकड़ा (स्वर्गीय) के कब्र में बुधवार को विशेष पूजा होगी. उनके लिए भी प्रार्थना की जायेगी. स्वर्गीय माइकल मिंज एवं पॉल लकड़ा का कब्र संत पात्रिक महागिरजाघर के अंदर बनाया गया है. यहां आस्था से मोमबत्ती जलायी जायेगी. इसके अलावा सभी चर्च में पुरोहितों द्वारा पूजा पाठ करायी जायेगी.

Also Read: Jharkhand News: आयरलैंड की 3 धर्मबहनें पहुंची गुमला, लड़कियों के विकास के लिए करेंगी काम

750 कब्र में होगी प्रार्थना

गुमला धर्मप्रांत में 39 पल्ली है. इसके अंतर्गत 350 छोटे छोटे चर्च हैं. इन चर्चो में करीब 750 कब्र है. जहां हर साल दो नवंबर को कब्र पूजा होती है. इसमें मृत आत्माओं के लिए विशेष प्रार्थना होगी.

गुमला धर्मप्रांत के पल्ली के नाम

गुमला, सोसो, टुकूटोली, रामपुर, दलमदी, तुरबुंगा, अघरमा, कोनबीर नवाटोली, केमताटोली, ममरला, केउंदटाड़, छत्तापहाड़, रोशनपुर, लौवाकेरा, सुंदरपुर, देवगांव, करौंदाबेड़ा, मांझाटोली, जोकारी, मुरुमकेला, टोंगो, बारडीह, चैनपुर, मालम नवाटोली, नवाडीह, कटकाही, केड़ेंग, परसा, भिखमपुर, रजावल, कपोडीह, डुमरपाट, डोकापाट, बनारी, विमरला, चिरैयां, जरमना व नवडीहा है.

कब्र पर्व मनाने के कारण

जो मर गये हैं. वे पहले मनुष्य थे. उनमें जीवन था. वे अपने जीवन काल में पाप किये, लेकिन ईश्वर से क्षमा नहीं मांगे. इसलिए उनके संतान मृत पूर्वजों के लिए ईश्वर से माफी मांगेंगे.

कब्र पर्व की मान्यता

ईसाइयों में मान्यता है कि मृत्यु के बाद जीवन का अंत नहीं है. मरने के बाद पुनर्जन्म होता है. यह मान्यता सृष्टि के निर्माण के समय से चली आ रही है, जो अन्नत तक चलती रहेगी. कब्र पूजा से पुरखों से रिश्ता बना रहता है.

कब्र पर्व पर विश्वास

कब्र पवित्र स्थल होता है. मरने के बाद कोई भेदभाव नहीं रहता है, जो मर गये. वे कब्र में शांत मुद्रा में रहते हैं. जबतक मनुष्य जिंदा है. वह बुराई व अच्छाई दोनों प्रकार के कार्य करता है. अगर ईश्वर से प्रार्थना करें, तो हमारे पाप दूर होता है.

बुधवार को मुर्दों के पूर्वजों को किया जाएगा याद

गुमला के भीजी फादर सीप्रियन कुल्लू ने कहा कि आज हम पुरखों को याद करेंगे. उनके लिए प्रार्थना करेंगे. गुमला के संत पात्रिक स्थित कब्रिस्तान में दिन के 3.00 बजे मोमबत्ती जलायी जायेगी. पुरोहितों की अगुवाई में पूजा होगी.

Also Read: Jharkhand Foundation Day: 1930 में देखा गया सपना 2000 में हुआ पूरा, जानें कैसे पड़ा झारखंड नाम

रिपोर्ट : दुर्जय पासवान, गुमला.

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें