15.1 C
Ranchi
Friday, February 7, 2025 | 10:13 am
15.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

हरियाणा में अर्श से फर्श पर पहुंचे क्षेत्रीय दल, वजूद बचाने का संकट, जानें ऐसा क्यों हुआ?

Advertisement

Haryana Assembly Elections 2024: JJP और INLD दोनों पार्टियां खुद को "किंगमेकर" के रूप में प्रस्तुत कर रही हैं, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि हरियाणा विधानसभा चुनाव में सीधा मुकाबला कांग्रेस और BJP के बीच होगा.

Audio Book

ऑडियो सुनें

Haryana Assembly Elections 2024: हरियाणा में राष्ट्रीय पार्टियों की बढ़ती लोकप्रियता और दबदबा, क्षेत्रीय दलों के प्रभाव को कमजोर कर रहा है. हाल के चुनावी नतीजों से यह स्पष्ट होता है. 2019 के हरियाणा विधानसभा चुनाव में कांग्रेस और BJP के बीच सीधा मुकाबला देखा गया, जहां कांग्रेस को 36.49% और BJP को 28.08% वोट मिले. जननायक जनता पार्टी (JJP) 10 सीटें जीतकर 14.80% वोट शेयर के साथ तीसरी सबसे बड़ी पार्टी बनी थी.

- Advertisement -

इसे भी पढ़ें: बाराबंकी में भीषण सड़क हादसा, एक ही परिवार के 5 लोगों की मौत, 8 घायल

2014 के विधानसभा चुनाव में BJP ने 33.5% वोट हासिल कर सबसे बड़ी पार्टी के रूप में जीत दर्ज की थी, जबकि इंडियन नेशनल लोकदल (INLD) 24.11% वोट के साथ दूसरे और कांग्रेस 20.58% वोट के साथ तीसरे स्थान पर रही. 2018 तक INLD हरियाणा की प्रमुख क्षेत्रीय पार्टी थी, लेकिन चौटाला परिवार में विभाजन से इसका असर पड़ा. दुष्यंत चौटाला ने अपने पिता अजय सिंह चौटाला के साथ मिलकर INLD से अलग होकर जननायक जनता पार्टी की स्थापना की.

इसे भी पढ़ें: Wikipedia: क्या इंडिया में बैन हो जाएगा विकिपीडिया? दिल्ली हाई कोर्ट की चेतावनी, जानें पूरा मामला  

2019 के विधानसभा चुनाव में INLD का वोट शेयर घटकर 2.44% रह गया और वह सिर्फ एक सीट जीत पाई, जबकि JJP 14.80% वोट के साथ 10 सीटें जीतकर BJP के साथ गठबंधन सरकार में शामिल हुई. हालांकि, पांच साल में JJP भी टूटने लगी. JJP के चार विधायक BJP में चले गए और तीन कांग्रेस में शामिल हो गए. अब JJP के पास केवल तीन विधायक बचे हैं, जिनमें दुष्यंत चौटाला और उनकी मां नैना चौटाला भी शामिल हैं. 2024 के लोकसभा चुनाव में JJP का वोट शेयर मात्र 0.87% रह गया, जबकि INLD को सिर्फ 1.74% वोट मिले. जाट समुदाय, जो पहले इन दोनों पार्टियों का वोट बैंक था, अब कांग्रेस की ओर चला गया.

इसे भी पढ़ें: Weather Update: दिल्ली-यूपी से लेकर राजस्थान तक झमाझम बारिश, जानें अन्य राज्यों के मौसम का हाल

INLD और JJP ने अपना अस्तित्व बचाने के लिए गठबंधन किए हैं. INLD ने बसपा के साथ और JJP ने चंद्रशेखर आजाद की आजाद समाज पार्टी के साथ गठबंधन किया है. हालांकि, बसपा का आधार भी हरियाणा में कमजोर हो चुका है, और JJP ने ASP को 20 सीटें दी हैं. राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार, JJP और INLD का वोट बैंक तेजी से गिर रहा है और वे सिर्फ चुनाव में अपनी मौजूदगी दिखाने की कोशिश कर रही हैं.

इसे भी पढ़ें: Ladli Behna Yojana: खुशखबरी, इन महिलाओं को दोबारा मिलेगा लाडली बहना योजना का लाभ, जानें कैसे?

दोनों पार्टियां खुद को “किंगमेकर” के रूप में प्रस्तुत कर रही हैं, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि हरियाणा विधानसभा चुनाव में मुख्य मुकाबला कांग्रेस और BJP के बीच होगा. कुछ क्षेत्रों में त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिल सकता है, पर क्षेत्रीय दलों का प्रभाव तेजी से घटा है. INLD कभी राष्ट्रीय दलों को कड़ी टक्कर देती थी, लेकिन पार्टी में विभाजन के बाद उसकी ताकत कमजोर हो गई है.

इसे भी पढ़ें: राजनीति के अखाड़े में उतरेंगे विनेश फोगाट और बजरंग पूनिया? राहुल गांधी से मुलाकात के बाद अटकलें तेज

हरियाणा में क्षेत्रीय दलों की सरकार का इतिहास भी कमजोर रहा है. 1967 में राव वीरेंद्र सिंह ने विशाल हरियाणा पार्टी से मुख्यमंत्री पद संभाला, लेकिन उनकी सरकार सिर्फ 241 दिन चली. 1999 में बंसीलाल ने हरियाणा विकास पार्टी से सरकार बनाई, लेकिन उनका कार्यकाल भी तीन साल 74 दिन का रहा. INLD ने दो बार सरकार बनाई, लेकिन ओमप्रकाश चौटाला का 2000 से 2005 का कार्यकाल ही पूरा हुआ. 2024 के हरियाणा चुनाव में, क्षेत्रीय दलों का अस्तित्व अब गंभीर सवालों के घेरे में है, और वे हाशिए पर पहुंच चुके हैं.

इसे भी पढ़ें: Public Holiday: खुशखबरी 7 सितंबर को इन राज्यों में बंद रहेंगे स्कूल-कॉलेज, बैंक और दफ्तर, जानिए क्यों? 

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें