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Bihar: कोसी पर ग्रामीणों ने बना दिया बांस का चचरी पुल, आपसी सहयोग से ढाई लाख लगाकर कायम की मिसाल

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कुशेश्वरस्थान प्रखंड क्षेत्र से होकर गुजरने वाली कोसी नदी पर ग्रामीणों ने बांस का चचरी पुल बना दिया है. सात सौ बांस के सहारे मजदूरों ने ढाई लाख की लागत से इस पुल को 14 दिनों में तैयार किया गया.

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दरभंगा. सरकार की आस छोड़ कुशेश्वरस्थान प्रखंड क्षेत्र से होकर गुजरने वाली कोसी नदी में कोला घाट पर लोगों ने आपसी सहयोग से बांस-बल्ला लगाकर चचरी पुल बना दिया है. बांस-बल्ला से बनाये गये चचरी पुल का उद्घाटन पिछले रविवार को उसरी के मुखिया प्रतिनिधि कैलाश साह, पूर्व मुखिया सीताराम राय, डॉ मनोज राय तथा इटहर के पूर्व मुखिया दिलीप राय ने संयुक्त रूप से फीता काटकर किया. इस चचरी पुल के बन जाने से प्रखंड के उजुआ-सिमरटोका पंचायत के आधा दर्जन, कोला गांव सहित लगभग 20 हजार से अधिक की आबादी को प्रखंड मुख्यालय व कुशेश्वरस्थान बाजार आने-जाने का रास्ता सुगम हो गया है.

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ग्रामीणों की कड़ी मेहनत से बना चचरी पुल

उसरी पंचायत के लोगों को भी अपने सीमावर्ती पंचायत में आवश्यक कार्य के लिए आने-जाने में सहूलियत होगी. इस चचरी पुल के बन जाने से लोगों को कोलाघाट पर नाव से पार उतरने का झंझट समाप्त हो गया है. मालूम हो कि कोसी नदी के इस घाट पर हर समय पानी की तेज धारा रहती है. इससे नाव के परिचालन में भी परेशानी होती थी. साथ ही खतरे की आशंका बनी रहती है. कई बार इस घाट पर नाव दुर्घटनाग्रस्त भी हो चुकी है. इसमें जान माल का भी नुकसान हुआ था.

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ढाई लाख की लागत से बना पुल

सात सौ बांस के सहारे मजदूरों ने ढाई लाख की लागत से इस पुल को 14 दिनों में तैयार किया गया. ग्रामीणों ने बताया कि नदी की तेज धारा में नाव से पार उतरना होता था. इसमें घटना की आशंका बनी रहती थी. इसे लेकर ग्रामीण अपने स्तर से बांस का पुल तैयार कर आने-जाने वाले लोगों तथा गाड़ी वालों से रुपये वसूली करते है. इससे ग्रामीणों को भी सुविधा होती है. चुनाव के समय तो नेता बड़ी-बड़ी बातें कहकर चले जाते है, लेकिन धरातल पर कठिनाई हम सुदूरवर्ती गांव के लोगों को भुगतना पड़ता है, तो नाव के इंतजार में रुकना पड़ता था. अब इस पुल के बन जाने से लोगों को काफी सुविधा होगी.

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