15.1 C
Ranchi
Friday, February 14, 2025 | 03:39 am
15.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

शहर में कुत्तों का आतंक ! छह दिन में 120 लोगों को काटा

Advertisement

शहर में कुत्तों का आतंक ! छह दिन में 120 लोगों को काटा

Audio Book

ऑडियो सुनें

मुजफ्फरपुर. जिले में आवारा कुत्ते हर दिन 20-25 लोगों को निशाना बना रहे हैं. इस अनुपात में हर सप्ताह 120 से अधिक लोगों को कुत्ते काट रहे हैं. यह खुलासा स्वास्थ्य विभाग की रिपोर्ट में हुआ है. एक जून से छह जून तक 120 लोगों को कुत्तों ने काटा है. यह तो वह आंकडे़ हैं जो सदर अस्पताल या स्वास्थ्य विभाग की सीएचसी-पीएचसी व अर्बन हेल्थ सेंटर पर इलाज कराने के लिए पहुंचे थे. ऐसे लोग भी काफी संख्या में हैं जो कुत्ते काटे जाने के बावजूद एंटी रैबीज इंजेक्शन लगवाने के लिए नहीं आते हैं. इन लोगों के आंकड़ों को भी इसमें शामिल कर लिया जाए तो आंकड़े और भयावह हो सकते हैं. स्वास्थ्य विभाग के फार्मासिस्ट ने बताया कि हर दिन 20-25 नये मरीज कुत्ते काटने के आ रहे हैं. इसे लेकर हर माह एंटी रेबीज वैक्सीन के लिए दो हजार वॉयल की डिमांड की जाती है, लेकिन मिलती है सिर्फ 950 वॉयल ही है. अब काफी संकट हो रहा है. स्वास्थ्य विभाग सदर अस्पताल व एसकेएमसीएच में एंटी रेबीज वैक्सीन लगवाता है, जबकि सीएचसी-पीएचसी, अर्बन हेल्थ सेंटर में वैक्सीन के अभाव में यह नहीं लगायी जाती है. नगर निगम खड़े कर चुका है हाथ नगर निगम कुत्तों को पकड़ने के लिए हाथ खड़े कर चुका है, दूसरी तरफ, सदर अस्पताल व एसकेएमसीएच में एंटी रेबीज इंजेक्शन लगवाने के लिए मारा-मारी रहती है. सदर अस्पताल में तो मरीजों को कई बार कुत्ते का पीछा करने की सलाह तक दे दी जाती है, उनसे कहा जाता है कि कुत्ता अगर मरता नहीं तो घबराने की जरूरत नहीं है. यह है रेबीज कुत्ता, बंदर, लंगूर आदि के काटने से जो लार व्यक्ति के खून में मिल जाती है, उससे रेबीज की बीमारी होने का खतरा बना रहता है. रेबीज रोग मानसिक संतुलन बिगाड़ता है. यह रोग 19 साल तक मरीज को अपनी गिरफ्त में ले सकता है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

संबंधित ख़बरें

Trending News

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें