नयी दिल्ली : गोवा के लिए रक्षा मंत्री की कुर्सी छोड़ने वाले मनोहर पर्रिकर आज शाम मुख्यमंत्री पद की शपथ लेगें. कांग्रेस ने मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था लेकिन कोर्ट ने कांग्रेस की याचिका को मानने से इनकार कर दिया. याचिका की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने कांग्रेस को फटकार लगायी. कोर्ट ने कांग्रेस से ही कई सवाल पूछ डाले. सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस से पूछा है कि अगर आपके पास संख्या है तो संख्याबल के साथ गवर्नर के पास क्यों नहीं गए?
कोर्ट ने कांग्रेस से पूछा कि अभी तक समर्थन में आये विधायकों की जानकारी क्यों नहीं दी? अगर कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी है तो अभी तक इससे जुड़ा कोई ऐफिडेविट क्यों पेश नहीं किया गया ? याचिका में यह भी नहीं बताया गया है कि कांग्रेस के समर्थन में कितने विधायक ?
सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस की याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि अगर आप पहले गवर्नर के पास अपने संख्याबल के साथ जाते और फिर सुप्रीम कोर्ट आते तो हमारे लिए फैसला करना आसान हो जाता. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अगर आपके पास संख्या बल था तो पहले आपको गवर्नर के पास जाना चाहिए था.
प्राप्त जानकारी के अनुसार सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि 16 मार्च को 11 बजे फ्लोर टेस्ट किया जाये. इसको लेकर 15 मार्च तक सभी औपचारिकता पूरी कर ली जाये.
सुनवाई के दौरान कांग्रेस के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि कांग्रेस गोवा में सरकार बना सकती है. कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी बनी है. राज्यपाल को इस मामले में सबसे पहले कांग्रेस से चर्चा करनी चाहिए थी. आपको बता दें कि कांग्रेस का आरोप है कि गोवा की राज्यपाल को सबसे बड़े दल को पहले मौका देना चाहिए था. भाजपा को सरकार बनाने का मौका देने से विधायकों की खरीद-फरोख्त को बढ़ावा मिलेगा.