24.1 C
Ranchi
Friday, February 7, 2025 | 06:54 pm
24.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

मोदी ने विनिर्माण को बढावा देने के लिए कानून में बदलाव का किया वादा

Advertisement

नयी दिल्ली : घरेलू विनिर्माण को बढावा देने के लिए उत्सुक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज कानूनों और सरकार के कामकाज की शैली में बदलाव का वादा किया ताकि रोजगार सृजित हो सके और अर्थव्यवस्था को फिर से पटरी पर लाया जा सके. ‘मेक इन इंडिया’ अभियान शुरू करने के तीन माह बाद प्रधानमंत्री ने […]

Audio Book

ऑडियो सुनें

नयी दिल्ली : घरेलू विनिर्माण को बढावा देने के लिए उत्सुक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज कानूनों और सरकार के कामकाज की शैली में बदलाव का वादा किया ताकि रोजगार सृजित हो सके और अर्थव्यवस्था को फिर से पटरी पर लाया जा सके. ‘मेक इन इंडिया’ अभियान शुरू करने के तीन माह बाद प्रधानमंत्री ने आज विनिर्माण क्षेत्र को बाधित कर रही अडचनों के बारे में शीर्ष उद्योगपतियों और सरकारी अधिकारियों की बातों को धैर्यपूर्वक सुना और सामूहिक एवं पारदर्शी निर्णय प्रक्रिया का वादा किया.

- Advertisement -

उन्होंने कहा, ‘पिछले तीन माह में सरकारी मशीनरी को दुरुस्त किया गया तथा वह अब बदलाव के लिए तैयार है. यदि हमें कानून बदलना है तो हम तैयार है. यदि हमें नियम बदलना है तो हम तैयार हैं. यदि हमें व्यवस्था बदलनी है तो हम तैयार है.’ उन्होंने इस अभियान के बारे में दिन भर चली कार्यशाला के बाद यह बात कही. प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार के कामकाज की बाधाओं को दूर किया गया है. उन्होंने सामूहिक निर्णय प्रक्रिया पर बल दिया.

उन्होंने कहा, ‘सरकार उपर से लेकर नीचे तक आम तौर पर एबीसीडी संस्कृति में फंसी है. ‘ए’ का मतलब है एवाइड (टालना), ‘बी’ का मतलब है बाईपास (बचकर निकलना) ‘सी’ कन्फूज (भ्रमित) और ‘डी’ डिले (विलंब). हमारा प्रयास है कि इस संस्कृति को रोड पर लाये. रोड में आर का मतलब है रिस्पांसिबिलिटी (जिम्मेदारी), ‘ओ’ ओनरशिप (स्वामित्व), ‘ए’ एकाउंटिबिलीटी (जवाबदेही) और ‘डी’ डिस्पिलिन (अनुशासन). हम इस रुपरेखा की ओर जाने के लिए प्रतिबद्ध हैं.’

मोदी ने कहा कि मानव संसाधन विकास, नवप्रवर्तन और अनुसंधान को सरकार के डीएनए का हिस्सा बनना चाहिये. प्रधानमंत्री ने भारत को विनिर्माण गतिविधियों का बडा केंद्र बनाने के लिये अपने विजन का खुलासा करते हुये कहा, ‘मेक इन इंडिया अभियान की पहचान एक शून्य खराबी और पर्यावरण को शून्य नुकसान के तौर पर होगी.’ उन्होंने कहा, ‘हमें यह देखना होगा कि वैश्विक स्तर पर ब्रांड इंडिया को किस तरह विकसित करना है.

जब तक कि वैश्विक बाजार में हम अपने लिये एक पहचान कायम करने में सफल नहीं होते हैं.’ देश में संतुलित विकास पर जोर देते हुये मोदी ने कहा कि मानव संसाधन, सामान, मशीन और खनिज का देशभर में अधिक से अधिक आवागमन होना चाहिये. मोदी ने कहा, ‘दिनभर चले प्रयास में जवाबदेही तय कर दी गई, कार्ययोजना तैयार कर ली गई, नीतियों में जररी बदलावों को तय कर लिया गया. और अब मैं समझता हूं कि किसी कागजी कार्य की आवश्यकता नहीं है.

चीजों का क्रियान्वयन स्वत: ही होने लगेगा.’ मोदी ने कहा कि महत्वपूर्ण निर्णय लेने की प्रक्रिया में उससे संबंद्ध सभी पक्षों को शामिल कर सरकार सार्वजनिक निजी भागीदारी (पीपीपी) मॉडल में एक नया आयाम जोड रही है. उन्होंने कहा, सरकार अब तक गोपनीय ढंग से काम करती रही है, लेकिन लक्ष्यों को हासिल करने के लिये यह कार्यशाला आपस में खुलेपन और साथ मिलकर काम करने का एक बेहतर उदाहरण है.

मोदी ने विनिर्माण के सभी क्षेत्रों को अंतरिक्ष और अंतरिक्ष क्षेत्र में भारतीय वैज्ञानिकों द्वारा हासिल की गई सफलताओं से प्रेरणा लेने का आह्वान किया. उन्होंने कहा, ‘समूचे भारत में आर्थिक वृद्धि संतुलित होनी चाहिये और इसके लिये विशेष प्रयास करने होंगे कि पूर्वी क्षेत्र जो कि प्राकृतिक संसाधनों के मामले में काफी धनी है उतना ही विकसित होना चाहिये जितना कि देश का पश्चिमी हिस्सा.’

कार्यशाला में प्रधानमंत्री को भारत में व्यासाय करने में सरलता के बारे में प्रस्तुतीकरण दिया गया. इसके अलावा रत्न एवं आभूषण, आटोमोबाइल, तेल और गैस, उर्जा और रसायन सहित दो दर्जन से अधिक क्षेत्रों में किये जा रहे नवीन प्रयासों के बारे में भी जानकारी दी गई.

प्रधानमंत्री ने इस दौरान देश में अगले 30 से 40 सालों की आवश्यकता को देखते हुये मानव संसाधन विकसित करने की आवश्यकता पर जोर दिया. इसके लिये उन्होंने विश्वविद्यालयों, संस्थानों और उद्योगों को मिलकर काम करने और भारत को कुशल लोगों का देश बनाने का आह्वान किया.

उन्होंने कहा, ‘दुनिया में जब तक हम नयी खोज और अनुसंधान के साथ आगे नहीं जायेंगे. जैसा कि सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) के क्षेत्र में 25 साल पहले अपना कौशल दिखाया लेकिन हम इस क्षेत्र में ‘गूगल’ नहीं बना सके, हमारी प्रतिभायें विदेश चली गई.’

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें