Budhwar Vrat: बुधवार का दिन भगवान श्री गणेश का दिन माना जाता है. गणेश जी को विघ्नहर्ता कहते हैं मतलब सारे दुखों और कष्टों को हरने वाले हैं. मान्यता है कि इस दिन भगवान श्री गणेश की पूजा अर्चना करने से सब विघ्न बाधाएं हमेशा के लिए दूर हो जाती हैं. धार्मिक ग्रंथों में बताया गया है कि किसी भी शुभ कार्य से पहले भगवान गणेश जी का आह्वान किया जाता है. मान्यता है कि सच्चे में गणपति बप्पा की पूजा करने से जीवन की समस्याएं दूर होकर हर कार्य में सफलता मिलती है. बुधवार के दिन पूरी श्रद्धा और भक्ति के साथ कोई व्यक्ति यदि भगवान गणेश की पूजा करता है, तो उसके जीवन के सभी विघ्न दूर हो जाते हैं. इसलिए बुधवार के दिन गणेश जी की पूजा जरूर करनी चाहिए.

  • सुबह सूर्योदय से पहले स्नान करके साफ कपड़े पहनकर तांबे के पात्र में भगवान गणेश की मूर्ति स्थापित करें. इसके बाद पूजा के स्थान पर पूर्व दिशा में मुंह कर बैठ जाएं. अगर ऐसा संभव न हो तो उत्तर दिशा की ओर चेहरा कर भगवान गणेश की पूजा शुरू करना चाहिए.

  • पूजा में भगवान श्री गणेश को दूर्वा की 5, 11 या 21 गांठे चढ़ायें. दूर्वा हमेशा उनके सिर पर रखें, कभी चरणों में अर्पित ना करें.दूर्वा को चढ़ाते समय यह सही विधि से मंत्र जप करे इदं दुर्वादलं ऊं गं गणपतये नमः” ऐसा करने से गणेश जी जल्दी प्रसन्न होते हैं.

  • शमी गणेश जी को अत्यंत प्रिय है इसलिए पूजा में शमी के कुछ पत्ते गणेश जी को अर्पित करें.ऐसा करने से घर में धन और सुख की वृद्धि होती है.

  • गणेश जी को लाल सिंदूर की बहुत पसंद है. गणेश जी की प्रसन्नता के लिए लाल सिंदूर का तिलक लगाएं. तिलक लगाने के बाद अपने माथे पर भी सिंदूर का तिलक जरूर लगाना चाहिए. इससे गणेश जी की कृपा प्राप्त होती है.

  • भगवान गणेश को प्रसन्न करने के लिए चावल अर्पित करें. सूखा चावल गणेश जी को न चढ़ाएं. चावल को पहले गीला करें फिर, ‘इदं अक्षतम् ऊं गं गणपतये नमः’ मंत्र बोलते हुए तीन बार गणेश जी को चावल चढ़ाएं.

  • पूजा में मोदक (Modak) का भोग गणेश भगवान को जरूर लगाएं क्योंकि मोदक गणेश भगवान को अति प्रिय है. गणपति के एक दन्त है इसीलिए वह इसे आराम से खा सकते है. मोदक का भोग लगाने से भगवान गणेश बहुत जल्दी खुश होते हैं और मनोकामना पूरी करते हैं.

  • गणेश जी की पूजा में देसी घी का दीपक जलाएं. ऐसा करने से गणेश जी की कृपा आप पर बनी रहेगी साथ ही आपकी मनोकामना भी पूर्ण हो जाएगी.

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  • बुधवार के दिन गणपति जी की पूजा-अर्चना करने के साथ उनकी आरती करें और फिर चालीसा का पाठ जरूर पढ़ें. ऐसा करने से आप सभी प्रकार के दुखों से मुक्ति मिलती है.

  • गणेश जी को हरा अत्‍यंत पसंद है इसल‍िए बुधवार के द‍िन हरे रंग के वस्‍त्र धारण करने चाह‍िए. ऐसा करने से बुध मजबूत होता है और उनका मान-सम्मान और धन संकट दूर होता है.

  • बुधवार को हरे मूंग की दाल,अमरूद और तांबे की वस्‍तुएं क‍िन्‍नरों को दान करें.लाल किताब के अनुसार किन्नरों को दान देने से बुध का शुभ प्रभाव प्राप्त होता है और धन, कारोबार और शिक्षा में बढ़ोतरी होती है.

बुधवार के दिन इन मंत्रों (Mantras) का करें जाप

बुधवार के दिन किन मंत्रों का जप करने से जीवन से जुड़े संकटों से मुक्ति मिलती है. अगर आप किसी विशेष फल की प्राप्ति चाहते हैं तो गणेश जी के इस मंत्र का जाप करें.

दुर्वा करान्सह रितान मृतन्मंगल प्रदान।

आनी तांस्तव पूजार्थ गृहाण परमेश्वर।।

  • अपने पूर्व कर्मों के बुरे फल को खत्म करने के लिए करें गणेश जी के इस मंत्र का जाप

ओम एकदन्ताय विद्महे। वक्रतुंडाय धीमहि।

तन्नो बुद्धि प्रचोदयात।।

बुधवार के उपाय

  • बुधवार के दिन भगवान गणेश के माथे पर सिंदूर लगाकर तिलक करें.

  • इसके बाद अपने माथे पर भी तिलक लगाएं, इससे आपके तरक्की तय हैं.

  • अगर आप मानसिक शांति चाहते हैं तो बुधवार के दिन गणेश जी को शमी के पत्ते जरुर अर्पित करें.

  • मानसिक तनाव से परेशानी आपकी कम होगी और आप प्रसन्न रहेंगे.

  • गणेश जी पूजा करने से आपकी बुद्धि तेज और तीव्र रहती है और आपका ज्ञान भी बढ़ता है.

  • बुधवार के गाय माता को घास खिलाना बेहद फायदेमंद बताया गया है.

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गणेश जी की आरती

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥

एक दंत दयावंत, चार भुजा धारी।

माथे सिंदूर सोहे, मूसे की सवारी॥

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥

पान चढ़े फल चढ़े, और चढ़े मेवा।

लड्डुअन का भोग लगे संत करें सेवा॥

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥

अंधन को आंख देत, कोढ़िन को काया।

बांझन को पुत्र देत निर्धन को माया॥

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥

सूर’ श्याम शरण आए, सफल कीजे सेवा।

माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥

दीनन की लाज रखो, शंभु सुतकारी।

कामना को पूर्ण करो जाऊं बलिहारी॥

जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।

माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥