नयी दिल्ली : पुलवामा आतंकी हमले में पाकिस्तान का हाथ होने के भारत के दावों को पड़ोसी मुल्क के इमरान खान की सरकार में मंत्री फवाद चौधरी ने पुष्टि कर दी है. पाकिस्तान के मंत्री फवाद चौधरी ने कबूल किया है कि पुलवामा आतंकी हमले में उसका हाथ था. इसके बाद केंद्रीय मंत्री वीके सिंह ने कहा है कि पाकिस्तान को एफएटीएफ में ब्लैकलिस्ट करने की जरूरत है.

पाकिस्तान में इमरान खान की सरकार में मंत्री फवाद चौधरी ने संसद में कबूल किया है कि पुलवामा आतंकी हमला इमरान खान सरकार की बड़ी कामयाबी है. यह पाकिस्तान की बड़ी उपलब्धि है. उन्होंने कहा कि ”जनाब महमूद कुरैशी साहब कि टांगे कांप रही थी. कह रहे थे कि हिंदुस्तान हमला कर रहा है. हमने हिंदुस्तान में घुसकर मारा है जनाब. पुलवामा में जो हमारी कामयाबी है, वह इमरान खान की कियादत में इस कौम की कामयाबी है. इसके हिस्सेदार आप सभी लोग हैं.”

पाकिस्तान के मंत्री फवाद चौधरी का वीडियो क्लिप सामने आने के बाद केंद्रीय मंत्री और पूर्व सेना प्रमुख जनरल (सेवानिवृत्त) वीके सिंह सरकार ने कहा कि भारत को इसकी जरूरत थी. उन्होंने कहा कि ”शुरुआत में कहा कि सभी पाकिस्तान की ओर इशारा करते हैं. यह अच्छा है कि पाकिस्तान ने इसे स्वीकार किया है. मुझे यकीन है कि हमारी सरकार इसका उपयोग दुनिया को यह बताने में करेगी कि पाक को एफएटीएफ में ब्लैकलिस्ट करने की जरूरत है.

मालूम हो कि 14 फरवरी, 2019 में जम्मू-कश्मीर में सीआरपीएफ के एक काफिले पर विस्फोटकों से भरी गाड़ी के जरिये आतंकी हमला किया गया था. इस हमले में देश के 40 जवान शहीद हो गये थे. बताया जाता है कि आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के आतंकियों ने आईईडी से भरी कार को सेना के काफिले में टक्कर मार कर विस्फोट कर दिया था.

पाकिस्तान सरकार में मंत्री फवाद चौधरी हमेशा बयानों को लेकर चर्चा में रहते हैं. वह हमेशा भारत को धमकी भी देते रहते हैं. जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाये जाने के बाद भारत को युद्ध की धमकी भी दे चुके हैं. वह भारत को परमाणु युद्ध की भी धमकी भी दे चुके हैं. चंद्रयान-2 की लॉन्चिंग के बाद उनके विवादास्पद ट्वीट को लेकर उन्हें अपने ही देश पाकिस्तान में आलोचना झेलनी पड़ी थी.

मालूम हो कि इससे पहले नेशनल एसेंबली में पाकिस्तान मुस्लिम लीग नवाज (पीएमएल-एन) के नेता सरदार अयाज सादिक ने कहा कि प्रधानमंत्री इमरान खान उस उच्चस्तरीय बैठक में नहीं आये थे, जिसमें सेना प्रमुख जनरल बाजवा और विदेश मंत्री कुरैशी समेत शीर्ष नेतृत्व ने भाग लिया था. सादिक ने कहा, ”पैर कांप रहे थे और माथे पर पसीने छूट रहे थे और विदेश मंत्री (कुरैशी) ने हमसे कहा, ”अल्लाह के वास्ते हमें उसे (वर्धमान) छोड़ देना चाहिए, क्योंकि भारत रात नौ बजे पाकिस्तान पर हमला कर रहा है.”

बैठक में पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी और पीएमएल-एन के नेताओं समेत कई संसदीय नेता मौजूद थे. बैठक को याद करते हुए सादिक ने कहा, ”भारत हमला करने की योजना नहीं बना रहा था. वे सिर्फ भारत के आगे घुटने टेकना चाहते थे और अभिनंदन को वापस भेजना चाहते थे.”