‘राज्यों के पास फ्रीबीज के लिए धन हैं, जजों की सैलरी-पेंशन के लिए नहीं’, सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी
India Canada Tension: कनाडा में भारतीय राजनयिकों के फोन टैप किए जाने के मामले को गंभीरता से लेते हुए भारत सरकार ने नाराजगी जताई और वहां की सरकार से बात की. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर कनाडा के बयान पर भी भारत सरकार ने नाराजगी जताई है. गृह मंत्री के बारे में कनाडाई मंत्री की बेतुका और निराधार टिप्पणी को लेकर भारत ने कड़े शब्दों में विरोध दर्ज कराया है.
कनाडा में भारतीय राजनयिकों के फोन किए जा रहे टैप
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया, हमारे कुछ वाणिज्य दूतावास अधिकारियों को हाल ही में कनाडा सरकार द्वारा सूचित किया गया था कि वे ऑडियो और वीडियो निगरानी में हैं और अभी भी हैं. उनके कम्युनिकेशन को भी बाधित किया गया है. हमने कनाडा सरकार के समक्ष विरोध जताया है क्योंकि हम इन कार्यों को प्रासंगिक राजनयिक और वाणिज्य दूतावास सम्मेलनों का घोर उल्लंघन मानते हैं. तकनीकी पहलुओं का हवाला देकर, कनाडा सरकार इस तथ्य को उचित नहीं ठहरा सकती कि वह उत्पीड़न और धमकी में लिप्त है. हमारे राजनयिक और वाणिज्य दूतावास कर्मी पहले से ही उग्रवाद और हिंसा के माहौल में काम कर रहे हैं.
भारत ने कनाडा को दी चेतावनी
भारत सरकार ने कनाडा को चेतावनी दे डाली है. विदेश मंत्रालय ने कहा, अगर कनाडा भारतीय राजनयिकों के फोन टैप करना बंद नहीं करता है, तो इससे द्विपक्षी संबंधों पर गहरा असर पड़ेगा.
कनाडा ने अमित शाह पर क्या दिया था बयान
कनाडा के उपविदेश मंत्री डेविड मॉरिसन ने बेबुनियाद आरोप लगाते हुए कहा था कि अमित शाह खालिस्तानी आतंकवादियों को निशाना बनाने की साजिश में शामिल थे. भारत सरकार ने इस आरोप को निराधार बताया और पलटवार किया.