नयी दिल्‍ली : पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में सोमवार रात चीनी सैनिकों के साथ हिंसक टकराव के दौरान भारतीय सेना का एक अधिकारी और दो जवान शहीद हो गए. शहीद हुए जवान में एक 16 बिहार रेजिमेंट के कमांडिंग ऑफिसर कर्नल संतोष बाबू भी शामिल हैं. न्‍यूज एजेंसी ANI के हवाले से खबर है कि कर्नल संतोष गलवान घाटी में पैट्रोलिंग पॉइंट 14 के करीब हुई झड़प में शहीद हुए. संतोष ने 2 दिसंबर 2019 को ही कमान संभाली थी.

45 साल बाद चीन की सीमा पर शहादत की पहली घटना

चीन की सीमा पर लगभग 45 साल बाद, भारतीय सशस्त्र बलों के कर्मियों की इस तरह शहादत की पहली घटना है. हिंसक टकराव के दौरान एक अधिकारी व दो जवान शहीद हुए, जबकि 6 चीनी सैनिक भी ढेर हुए हैं. 1975 में अरुणाचल प्रदेश में तुलुंग ला में हुए संघर्ष में चार भारतीय जवानों की शहादत के बाद यह इस तरह की पहली घटना है.

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की सेना प्रमुखों और CDS के साथ आपात बैठक

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने प्रमुख रक्षा अध्यक्ष जनरल बिपिन रावत, तीनों सेनाओं के प्रमुख व विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को इस टकराव के साथ-साथ पूर्वी लद्दाख के संपूर्ण घटनाक्रम से अवगत कराया.

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बताया जा रहा है कि हिंसक टकराव के दौरान शहीद अधिकारी कर्नल व गलवान में एक बटालियन के कमांडिंग अफसर थे. तीनों सैनिक चीन की ओर से किए गए पथराव में घायल हुए जिसके बाद उनका निधन हो गया. हालांकि अभी इस पर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है. आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि दोनों ओर से कोई गोलीबारी नहीं हुई.

Galwan valley clash : चीनी सैनिकों के साथ झड़प में 16 बिहार रेजिमेंट के कमांडिंग ऑफिसर कर्नल संतोष बाबू शहीद 2
सेना प्रमुख ने पठानकोट दौरा किया रद्द

चीन के साथ लद्दाख में हुई हिंसक झड़प के बाद सेना प्रमुख जनरल एम एम नरवणे ने पठानकोट की अपनी प्रस्तावित यात्रा रद्द कर दी है और लगातार स्‍थिति पर नजर बनाये हुए हैं.

चीन ने भारत पर लगाया गंभीर आरोप

इधर चीन ने इस घटना पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए आरोप लगाया कि भारतीय सैनिकों ने 15 जून को दो बार अवैध गतिविधियों के लिए सीमा रेखा लांघी और चीन के कर्मियों को उकसाया तथा उन पर हमले किए जिसके कारण दोनों पक्षों के बीच गंभीर मारपीट हुई. चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिनजियान ने कहा, हम एक बार फिर भारतीय पक्ष से कहते हैं कि सहमति का पालन करें, अग्रिम मोर्चे के अपने सैनिकों पर कड़ाई से नियंत्रण करें और रेखा नहीं लांघें, समस्या पैदा नहीं करें या एकतरफा कदम नहीं उठाएं जिससे मामला जटिल बन जाए. पिछले पांच हफ्तों से गलवान घाटी समेत पूर्वी लद्दाख के कई क्षेत्रों में बड़ी संख्या में भारतीय और चीनी सैनिक आमने सामने हैं.