नयी दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बड़ा फैसला लेते हुए आयुध निर्माणी बोर्ड के निगमीकरण को मंजूरी दे दी. इसके साथ ही सरकारी स्वामित्ववाली 41 ऑर्डिनेन्स फैक्टरियों को सात कॉर्पोरेट कंपनियों में तब्दील कर दिया जायेगा.

आधिकारिक सूत्रों के हवाले से न्यूज एजेंसी एएनआई ने कहा है कि वर्तमान में रक्षा मंत्रालय के अधीनस्थ आयुध निर्माणी बोर्ड को पेशेवर प्रबंधन के साथ सात सरकारी स्वामित्व वाली कॉर्पोरेट संस्थाओं में परिवर्तित करके रक्षा निर्माण में बड़ा सुधार लाने का निर्णय लिया गया है.

सरकारी स्वामित्ववाली ऑर्डिनेन्स फैक्टरियों को आयुध निर्माणी बोर्ड (ओएफबी) नियंत्रित करता है. इन ऑर्डिनेन्स फैक्टरियों को अब सात सरकारी स्वामित्ववाली संस्थाओं में विभाजित किया जायेगा. इसके साथ ही आर्डिनेन्स फैक्टरियों का अस्तित्व भी अब समाप्त हो जायेगा.

इन आर्डिनेन्स फैक्टरियों में गोला-बारूद, विस्फोटक, वाहन, हथियार, उपकरण, सैन्य सुविधा के सामान, पैराशूट, ऑप्टो-इलेक्ट्रॉनिक्स गियर के साथ-साथ सैन्य उत्पादों का उत्पादन किया जायेगा. मालूम हो कि इन फैक्टरियों में टैंक, बख्तरबंद वाहन, बम, रॉकेट, आर्टिलरी गन, एंटी-एयरक्राफ्ट गन, पैराशूट, छोटे हथियार, कपड़े और चमड़े के उपकरण का निर्माण होता था.

बताया जाता है कि ऑर्डिनेन्स फैक्टरियों में कार्यरत मौजूदा कर्मियों के हितों का भी ध्यान रखा जायेगा. ऑर्डिनेन्स फैक्टियों के कर्मियों को नयी कंपनियों में उनके कार्य के अनुसार समायोजन भी किया जायेगा. रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने भी कहा है कि ऑर्डिनेन्स फैक्टरियों के कर्मियों की सेवा स्थिति में कोई बदलाव नहीं किया जायेगा. उन्हें घबराने की जरूरत नहीं है.