चंडीगढ़ : हरियाणा के बहुचर्चित जमीन घोटाला मामले में जस्टिस एसएन ढींगरा कमीशन ने आज अपनी रिपोर्ट हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को सौंप दी है. 182 पन्नों की इस रिपोर्ट में जांच वसबूत दोनों को मजबूत तरीके से रखा गया है. सूत्रों के हवाले से खबर आ रही है कि इस रिपोर्ट में ढींगरा कमीशन ने कई सरकारी अधिकारियों को दोषी माना है और उनके खिलाफ कड़ी कारर्वाई की अनुशंसा की गयीहै.जस्टिस ढींगरा ने एक प्रेस कान्फ्रेंस में कहा कि रिपोर्ट की सामग्री के बारे में मैं कुछ नहीं कह सकता, जबतक सरकार इसे सार्वजनिक नहीं करती. उन्होंने कहा कि उनकी रिपोर्ट दो हिस्सों में है, एक हिस्सा इस मामले की फाइंडिंग और दूसरा सबूत के बारे में है.

इस रिपोर्ट पर कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने सवाल उठाते हुए कहा है कि रिपोर्ट मुख्यमंत्री खट्टर को सौंपने से घंटों पहले सुनियोजित ढंग से मीडिया में लीक कर दी गयी, जिसका प्रसारण विभिन्न चैनलों पर किया ज रहा था. उन्होंने इसमें भाजपा के शीर्ष नेतृत्व व मोदी सरकार व खट्टर सरकार की भूमिका बतायी. उन्होंने कहा कि यह रिपोर्ट किसी एक व्यक्ति को परेशान करने के लिए तैयार की गयी लगती है. उन्होंने रिपोर्ट को सार्वजनिक करने की मांग की है.

सूत्रों की मानें तो इस रिपोर्ट में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के खिलाफ भी कार्रवाई की मांग की गयी है. इस रिपोर्ट में कड़ी टिप्पणी करते कई लोगों के नाम हैं. रिपोर्ट में कहा गया है नियम और कानून को ताक में रखकर सीधे तौर पर राबर्ट वाड्रा की कंपनियों को फायद पहुंचाया गया है.रिपोर्ट में लैंड यूज बदलने की बात भी कही गयी है.एक-दो नहीं कमीशन ने छह मामलों में शिकायत दर्ज करने की सिफारिश की है. इस रिपोर्ट ने एक नया राजनीतिक तूफान खड़ा कर दिया है.

इस मामले को लेकर पहले से राजनीति गर्म है. हरियाणा में हुए विधानसभा चुनाव में इस मुद्दा बनाकर चुनाव लड़ा गया था. भारतीय जनता पार्टी ने चुनावी सभा के दौरान वादा किया था कि हमारी सरकार आयी तो दोषियों को सजा दी जायेगी. दूसरी तरफ कांग्रेस इसे बदले की कार्रवाई बता रही है. कांग्रेस का कहना है कि इस मामले को राजनीतिक रूप से ट्रीट किया जा रहा है.