7th Pay Commission: कामचोर बाबुओं को ‘नो इंक्रीमेंट”, पढें कैसे
नयी दिल्ली : अपने कार्य के प्रति लापरवाही केंद्रीय कर्मचारियों पर अब भारी पड़ सकता है. सरकार ने कहा है कि यदि कर्मचारियों का कार्य प्रदर्शन संतोषजनक नहीं है, तो उन्हें वार्षिक इंक्रीमेंट या वार्षिक अप्रेजल नहीं मिलेगा. सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को अधिसूचित करने के साथ ही वित्त मंत्रालय ने इस संबंध में […]
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नयी दिल्ली : अपने कार्य के प्रति लापरवाही केंद्रीय कर्मचारियों पर अब भारी पड़ सकता है. सरकार ने कहा है कि यदि कर्मचारियों का कार्य प्रदर्शन संतोषजनक नहीं है, तो उन्हें वार्षिक इंक्रीमेंट या वार्षिक अप्रेजल नहीं मिलेगा. सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को अधिसूचित करने के साथ ही वित्त मंत्रालय ने इस संबंध में अलग से अधिसूचना जारी की है. इसमें कर्मचारियों के प्रमोशन और फाइनेंशियल अपग्रेडेशन के लिए परफॉर्मेंस अप्रेजल के बेंचमार्क को ‘गुड’ से ‘वेरी गुड’ लेवल तक बढ़ाया गया है. वित्त मंत्रालय ने यह भी कहा है कि वेतन आयोग की सिफारिशों को स्वीकार करते हुए मोडीफाइड एश्योर्ड करियर प्रोग्रेशन (एमएसीपी) स्कीम को पहले की तरह 10, 20 और 30 साल की सर्विस के लिए आगे भी जारी रखा जायेगा.
खुशखबरी ! अगस्त में आयेगी बढ़ी हुई सैलरी
केंद्रीय कर्मचारियों को संभवत: अगले महीने यानी अगस्त की सैलरी बढ़ी हुई मिलेगी. केंद्र सरकार ने सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को क्रियान्वित करने के लिए संशोधित वेतनमान को अधिसूचित कर दिया है. इससे केंद्र सरकार के एक करोड़ कर्मचारियों व पेंशनभोगियों के मूल वेतन में 2.57 गुना वृद्धि होगी. इससे सरकारी खजाने पर 1.02 लाख करोड़ रुपये का बोझ पड़ेगा. मालूम हो कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पिछले महीने न्यायमूर्ति ए के माथुर की अध्यक्षता वाले सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को मंजूरी दे दी थी. इन सिफारिशों के लागू होने से केंद्र सरकार के 47 लाख कर्मचारियों और 53 लाख पेंशनभोगी लाभन्वित होंगे. इसमें रक्षा क्षेत्र में कार्यरत 14 लाख कर्मचारी व 18 लाख पेंशनभोगी शामिल हैं.