‘राज्यों के पास फ्रीबीज के लिए धन हैं, जजों की सैलरी-पेंशन के लिए नहीं’, सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी
मुंबई : मुंबई में बाहरी मजदूरों के खिलाफ महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (एमएनएस) के प्रमुख राज ठाकरे के जहरीले बयान के एक दिन बाद गुरुवार शाम एक ऑटो रिक्शा में कुछ लोगों के द्वारा आग लगा देने का मामला प्रकाश में आया. पुलिस ने इस संबंध में जानकारी दी कि जिन शरारती तत्वों ने घटना को अंजाम दिया है अभी उनकी पहचान नहीं हो पाई है और इस घटना की जांच जारी है. पुलिस ने कहा है कि इस घटना के पीछे कौन है यह भी अभी पता नहीं चल पाया है.
इधर मीडिया रिपोर्ट में चल रही खबर के अनुसार घटनास्थल पर मौजूद लोगों का कहना है कि जिनलोगों ने घटना को अंजाम दिया वे महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के लोग थे और उन्होंने गले में पार्टी का पट्टा पहन रखा था. चश्मदीदों ने यह भी जानकारी दी कि वे लोग मराठी में एमएनएस और राज ठाकरे जिंदाबाद के नारे लगा रहे थे.
आपको बता दें कि राज ठाकरे ने अपने कार्यकर्ताओं से बुधवार को कहा है कि राज्य में जो नए पंजीकृत रिक्शा ग़ैर मराठी चला रहे हैं उन्हें जला दें. ठाकरे के इस बयान पर सभी पार्टियों की तीखी प्रतिक्रिया सामने आई है. गैर-मराठियों को ऑटो रिक्शा के परमिट मिलने से जुडी राज ठाकरे की टिप्पणियों की आलोचना करते हुए विपक्षी कांग्रेस और राकांपा ने उनपर ‘घृणा की राजनीति’ करने का आरोप लगाया. इसके साथ ही विपक्षी दलों ने भाजपा-शिवसेना सरकार से मांग की है कि मनसे के अध्यक्ष के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए.
राज ठाकरे ने नए ऑटो रिक्शा के परमिटों में से 70 प्रतिशत परमिट गैर-मराठियों को दिए जाने का दावा करते हुए धमकी दी थी कि यदि ये वाहन सडकों पर चलते नजर आए तो उनके कार्यकर्ता इन वाहनों को आग लगा देंगे.