‘राज्यों के पास फ्रीबीज के लिए धन हैं, जजों की सैलरी-पेंशन के लिए नहीं’, सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी
चेन्नई: कार्ति चिदम्बरम ने कारण बताओ नोटिस पर तमिलनाडु कांग्रेस अध्यक्ष ई वी के एस इलानगोवन पर पलटवार करते हुए सफाई देने से आज इनकार कर दिया और कहा कि केवल अखिल भारतीय कांग्रेस समिति (एआईसीसी) की अनुशासन समिति ही सवाल करने के लिए सक्षम है.
पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदम्बरम के बेटे कीर्ति को पार्टी और आलाकमान के खिलाफ उनके कथित बयान को लेकर 23 जनवरी को प्रदेश अध्यक्ष ने नोटिस जारी किया था.कार्ति ने 22 जनवरी को अपने समर्थकों की एक बैठक में कांग्रेस की चुनावी हारों का विश्लेषण करते हुए भाजपा को सफलता दिलाने में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘राजनीतिक ज्ञान एवं सूझबूझ’ की सराहना की थी.
अपने नोटिस में इलानगोवन ने कहा था कि कार्ति ने पार्टी आलाकमान की आलोचना की और कांग्रेस के विकास में रोडे अटकाए. उन्होंने कार्ति से एक सप्ताह में सफाई मांगी, अन्यथा पार्टी से निकाल देने की धमकी दी.
कार्ति ने नोटिस पर प्रतिक्रिया दी, ‘‘मैं अखिल भारतीय कांग्रेस समिति (एआईसीसी) का सदस्य हूं. केवल एआईसीसी की अनुशासन समिति ही उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई करने या सफाई मांगने के लिए सक्षम है. ’’ प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य कार्ति ने कहा कि यदि इलानगोवन ने उनके भाषण के सार को समझा हो तो यह बिल्कुल साफ है कि उन्होंने न तो पार्टी की और न ही उसके आदशरें की आलोचना की है तथा उसमें सफाई मांगने या देने जैसा कुछ नहीं है.