‘राज्यों के पास फ्रीबीज के लिए धन हैं, जजों की सैलरी-पेंशन के लिए नहीं’, सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी
नयी दिल्ली : केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड ट्रेनिंग (डीओपीटी) के भेजे गये प्रस्ताव पर गौर कर रहा है. इसमें अलग से सरकारी डॉक्टरों का एक पूल बनाने की बात कही गयी है. इंडियन मेडिकल सर्विस का प्रस्ताव कई वर्षों से लंबित है, लेकिन अब मोदी सरकार इसे अंतिम रूप देगी.
सूत्रों के मुताबिक, डीओपीटी ने दो प्राइवेट पार्टी प्रपोजल भेजे थे, जिसमें स्वास्थ्य मंत्रालय से इंडियन मेडिकल सर्विस बनाये जाने पर विचार करने के लिए कहा गया है. प्रस्ताव में आइएएस और आइपीएस की तर्ज पर डॉक्टरों के लिए ऑल इंडिया सर्विस शुरू किये जाने की बात है. इसमें आइएएस और आइपीएस की तरह ही ट्रेनिंग, वर्किंग कंडीशंस और अन्य सुविधाएं देने का प्रस्ताव है.