DGCA Action on Go Air: नागर विमानन महानिदेशालय यानि डीजीसीए ने बेंगलुरु एयरपोर्ट पर 9 जनवरी, 2023 को एक बस में सवार 55 यात्रियों को लिए बगैर ही विमान के उड़ान भरने की घटना के संबंध में गो फर्स्ट एयरलाइन पर 10 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है.

डीजीसीए ने जारी किया था कारण बताओ नोटिस

डीजीसीए ने इस घटना के बाद एयरलाइन कंपनी गो फर्स्ट को कारण बताओ नोटिस जारी किया था. नागर विमानन महानिदेशालय ने एक बयान में कहा है कि नोटिस के जवाब में गो फर्स्ट ने जो जानकारी दी है, उसके मुताबिक उक्त घटना टर्मिनल को-ऑर्डिनेटर, वाणिज्यिक कर्मियों और परिचालक दल के सदस्यों के बीच यात्रियों के विमान में सवार होने के बारे में संवाद और समन्वय की कमी के कारण हुई.

एयरलाइन पर लगाया गया 10 लाख रुपये का जुर्माना

विमानन नियामक ने कहा कि अन्य खामियां भी हुई हैं. इस सब के मद्देनजर, उसने एयरलाइन कंपनी पर 10 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है. गौर हो कि कंपनी ने इस मामले में बयान जारी कर कहा गया था कि बेंगलुरु से दिल्ली जाने वाली उड़ान संख्या G8-116 के उड़ान भरने से पहले यात्रियों की जांच के दौरान लापरवाही के कारण उत्पन्न हुई है. इस स्थिति के लिए हम माफी मांगते हैं. कंपनी ने यह भी कहा कि यात्रियों को दूसरी उड़ानों से दिल्ली और उसके बाद उनके गंतव्य स्थलों के लिए रवाना कर दिया गया.एयरलाइन ने अगले 12 महीनों में सभी प्रभावित यात्रियों को किसी भी घरेलू क्षेत्र में यात्रा के लिए एक मुफ्त टिकट देने का फैसला किया है. साथ ही कहा था कि जांच जारी रहने तक सभी कर्मचारी ऑफ रोस्टर होंगे.


सोशल मीडिया पर यात्रियों ने जारी किया था गुस्सा

बताते चलें कि एयरलाइन कंपनी के इस रवैये से नाराज यात्रियों ने अपने खराब अनुभव को लेकर ट्वीट किया था. डीजीसीए को टैग करते हुए एक यात्री ने ट्वीट किया था, गो फर्स्ट एयरवेज के साथ सबसे भयानक अनुभव रहा. सुबह 5:35 बजे विमान के लिए बस में चढ़े. 6:30 बज रहे हैं, अभी भी 50 से अधिक यात्री बस में ही हैं. लापरवाही की पराकाष्ठा. लोग चिल्लाते रहे गए कि विमान उनके बिना ही उड़ गया है.

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