18.8 C
Ranchi
Sunday, February 9, 2025 | 08:54 am
18.8 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

गुमला शहर में अब होल्डिंग टैक्स नहीं सर्किल रेट लगेगा, टैक्स बढ़ने से लोगों में फूटा गुस्सा

Advertisement

गुमला में होल्डिंग टैक्स की जगह सर्किल रेट के आधार पर टैक्स तय किया गया है. इससे लोगों की जेब और अधिक ढीली करनी पड़ेगी. इसको लेकर लोगों में काफी गुस्सा है. लोगों ने कहा कि आवासीय भवनों में 15 प्रतिशत से 25 प्रतिशत तथा व्यावसायिक भवनों में डेढ़ से चार गुना तक टैक्स बढ़ने की संभावना है.

Audio Book

ऑडियो सुनें

Jharkhand News: गुमला शहर में नगर परिषद द्वारा टैक्स बढ़ाये जाने से लोगों में गुस्सा है. लोगों का आरोप है कि सुविधा मिल नहीं रही, लेकिन टैक्स बढ़ाया जा रहा है. टैक्स बढ़ाये जाने से लोग अब आंदोलन के मूड में नजर आ रहे हैं. हालांकि, सरकार ने अब होल्डिंग टैक्स की जगह सर्किट रेट तय कर दिया है. सर्किट रेट तय किये जाने पर गुमला के लोगों ने कहा कि मई 2022 से सरकार द्वारा सर्किल रेट के आधार पर टैक्स वसूलने के लिए नोटिफिकेशन जारी किया गया है. इसके तहत आवासीय भवनों में 15 प्रतिशत से 25 प्रतिशत तथा व्यावसायिक भवनों में डेढ़ गुना से चार गुना तक टैक्स बढ़ने की संभावना है.

- Advertisement -

सर्किल रेट के आधार पर हो रही टैक्स वसूली

बता दें कि झारखंड राज्य के नगर परिषद् क्षेत्र के नागरिकों और व्यवसायियों को होल्डिंग टैक्स की वसूली सर्किल रेट के नये नियमों के आधार पर वित्तीय वर्ष 2022-23 के अप्रैल माह से दिया जाना शुरू हो गया है. जिसके तहत महिलाओं, वरिष्ठ नागरिक, विकलांग, किन्नर एवं भारतीय सेना में काम करने वाले को पांच प्रतिशत अतिरिक्त छूट दिया गया है. वहीं, होल्डिंग टैक्स की गणना एवं वसूली सर्किल रेट के नये नियमों के तहत किया जा रहा है. पूर्व में शहरी क्षेत्र के आवासीय और गैर आवासीय भवनों का होल्डिंग टैक्स सड़क की चौड़ाई के आधार पर वार्षिक किराया मूल्य दो प्रतिशत के रूप में लिया जाता था. अब टैक्स की वसूली रजिट्रेशन कार्यालय द्वारा तय किये गये पक्के एवं कच्चे मकानों के सर्किल रेट के आधार पर लिया जा रहा है.

वर्तमान में किए गए बदलाव

गैर आवासीय या वाणिज्यिक संपत्ति के लिए 0.15 प्रतिशत की दर से भुगतान होगा. कारपेट एरिया के स्थान पर अब निर्मित क्षेत्र के आधार पर टैक्स की गणना होगी. वहीं, खाली भूमि के लिए टैक्स की दर में न्यूनतम वृद्धि किया गया है. आवासीय निर्माण के लिये सर्कल रेट 0.75 प्रतिशत संपत्ति कर के रूप में देय होगा. गैर आवासीय भवन जैसे शॉपिंग मॉल, होटल, मल्टीप्लेक्स और बैंक्वेट हॉल के मामले में 25,000 वर्ग से अधिक निर्मित क्षेत्र टैक्स की दर 0.15 प्रतिशत के स्थान पर 0.20 प्रतिशत होगी.

Also Read: नकली खाद और बीज बेचने के आरोप में गढ़वा के खरौंधी के दो दुकानदारों पर मामला दर्ज, गोदाम किया सील

पहले इस प्रकार लिया जाता था होल्डिंग टैक्स

पूर्व में शहरी क्षेत्र के आवासीय और गैर आवासीय भवनों का होल्डिंग टैक्स सड़क की चौड़ाई के आधार पर वार्षिक किराया मूल्य दो प्रतिशत के रूप में लिया जाता था. नगर परिषद क्षेत्र में प्रधान मुख्य सड़क पर दो रुपये प्रति वर्ग मीटर, मुख्य सड़क पर 1.5 रुपये प्रति वर्ग मीटर, अन्य में एक रुपये प्रति वर्ग मीटर, किसी भी सड़क से अवस्थित भूमि पर 500 रुपये प्रति एकड़ की दर से लिया जाता था. जबकि खेल मैदान और सरकारी भूमि पर कोई कर देय नहीं होता था.

नगर परिषद के खिलाफ बड़े आंदोलन की जरूरत

चेंबर ऑफ कॉमर्स के पूर्व अध्यक्ष रमेश कुमार चीनी ने कहा कि नगर परिषद शुरू से ही मनमानी करते आ रही है. जरूरत है एक बड़े आंदोलन की. गुमला शहर की जनता से अपील है कि आप सभी तैयार हो, तो टैक्स से लेकर अन्य मुद्दों को लेकर एक बड़ा आंदोलन खड़ा किया जा सकता है. क्योंकि हम जो टैक्स देते हैं. उसी से नगर परिषद चल रहा है. इसलिए जनता का अधिकार है. शहर के अंदर जो सुविधा एवं सहूलियत होनी चाहिए. वह जनता को मिले.

रांची नगर निगम से अधिक गुमला की जनता से टैक्स वसूला जा रहा : चेंबर अध्यक्ष

चेंबर के पूर्व अध्यक्ष हिमांशु केशरी ने कहा कि नगरपालिका अधिनियम एक्ट के अनुसार कोई भी टैक्स या शुल्क बढ़ाने से पहले स्थानीय निकाय के गणमान्य व्यक्तियों व वार्ड पार्षद की उपस्थिति में बैठक होनी चाहिए. उसके बाद सहमति के अनुसार टैक्स बढ़ाया जाना चाहिए. जबकि गुमला में ऐसा नहीं हुआ और रांची नगर निगम से भी ज्यादा टैक्स आज गुमला की जनता नगर परिषद होते हुए भर रही है. वार्ड पार्षदों से पुनः अपील की जनहित में गुमला में टैक्स कम करने के लिए बोर्ड मीटिंग में एकजुट होकर अपनी आवाज बुलंद करें.

Also Read: PM मोदी संताल परगना को देंगे सौगात, ऑनलाइन शिलान्यास- उद्घाटन के साथ गतिमान एक्सप्रेस की करेंगे घोषणा

लोगों के बीच अपनी बात रखें मौजूदा पार्षद

पूर्व वार्ड पार्षद कृष्णा राम ने कहा कि होल्डिंग टैक्स से संबंधित वर्तमान में नया रेट जो आया हुआ है. वह काफी अधिक है. इसे हर हाल में लागू नहीं करना चाहिए. इससे लोगों को होल्डिंग टैक्स में काफी बोझ पड़ेगा. ऐसे भी पहले से गुमला जैसे छोटे एवं पिछड़ा क्षेत्र में अधिक टैक्स लगा दिया गया है. सिविल कोर्ट गुमला के अधिवक्ता मो खुर्शीद आलम ने कहा कि वार्ड चुनाव के समय लगभग सभी उम्मीदवार का घोषणा रहता है कि वे टैक्स घटाने का आवाज उठाएंगे. लेकिन, निर्वाचित होते ही वार्ड पार्षद अपने वादे भूल जाते हैं. आखिर क्या वजह है कि वार्ड पार्षद जनहित के मुद्दे से भागते हैं. विकास योजनाओं में दो प्रतिशत कमीशन लेने की बात आती है तो सबसे आगे खड़ा हो लाते हैं. मौजूदा बोर्ड के पार्षद को इस जनता के बीच सफाई देनी चाहिए.

सर्किल रेट की बढ़ोतरी से लोगों पर पड़ेगा आर्थिक बोझ : लायंस क्लब ऑफ गुमला

लायंस क्लब ऑफ गुमला के अध्यक्ष अशोक कुमार जायसवाल ने कहा कि कोरोना के कारण व्यवसायी एवं आमजन पहले से त्रस्त हैं. ऐसे में होल्डिंग टैक्स को अब सर्किल रेट में बढ़ोतरी से उनपर आर्थिक बोझ बढ़ेगा. खाने-पीने के समान हो या फिर जीवन से जुड़ी अन्य वस्तुएं हर चीज में महंगाई शिखर पर है. महंगाई से सबसे अधिक पीड़ित मध्यमवर्ग है. ऐसे में झारखंड सरकार का सर्किल रेट बनाने का फैसला आम लोगों के हित में नहीं होगा. सर्किल रेट नगर परिषद की ओर से दी गयी सेवा के एवज में लिया जाता है. सड़क, बिजली, पानी, सफाई, स्वच्छ नाली इत्यादि देना होता है. परंतु शहर की वस्तु स्थिति सबके सामने है. ऐसे में बिना सुविधा टैक्स में बढ़ोतरी का निर्णय अनुचित है. नगरपालिका के पूर्व सभापति योगेंद्र प्रसाद गुप्ता ने कहा कि टैक्स घटाने, बढ़ाने और किसी आदमी का उसका स्थिति को देखते हुए माफ करने का सारा अधिकार नप बोर्ड के पास निहित है. सभी लोग चुनाव के क्रम में जनहित में टैक्स घटाने का वादा करते हैं. लेकिन, चुनाव जितने के बाद जनहित के मुद्दे पर न जाने किस बात से प्रभावित होकर शांत हो जाते हैं. अधिवक्ता संघ व चेंबर ने टैक्स को लेकर आंदोलन किया है.

नगर परिषद बोर्ड की बैठक में होल्डिंग टैक्स नहीं बढ़ाने की रखेंगे बात : नगर परिषद अध्यक्ष

इस संबंध में गुमला नगर परिषद अध्यक्ष दीप नारायण उरांव ने कहा कि झारखंड सरकार द्वारा होल्डिंग टैक्स में कुछ बढ़ोतरी किया गया है. जिसके आलोक में गुमला नगर परिषद में भी होल्डिंग टैक्स बढ़ाया जाना है. टैक्स बढ़ने के साथ ही आम जनता पर अतिरिक्त आर्थिक बोझ भी बढ़ेगा. प्रयास रहेगा कि टैक्स नहीं बढ़े. अभी नगर परिषद बोर्ड की बैठक नहीं हुई है. बोर्ड की बैठक में होल्डिंग टैक्स नहीं बढ़ाने की बात रखेंगे.

Also Read: गुमला के भरनो में दुष्कर्म के बाद हत्या कर युवती के शव को जलाया, तीन थाना क्षेत्रों के बीच फंसा मामला

नगर परिषद बोर्ड की बैठक में प्रस्ताव लाने का होगा प्रयास : नगर परिषद उपाध्यक्ष

वहीं, नगर परिषद उपाध्यक्ष मोहम्मद कलीम अख्तर ने कहा कि होल्डिंग टैक्स को लेकर झारखंड सरकार ने कुछ संशोधन किया है. जनता पहले से ही महंगाई की मार झेल रही है. होल्डिंग टैक्स बढ़ने से जनता पर आर्थिक बोझ और अधिक बढ़ेगा. कोशिश करेंगे कि गुमला नगर परिषद में टैक्स नहीं बढ़े. इस संबंध में नगर परिषद बोर्ड की बैठक में बोर्ड के सभी लोगों के माध्यम से प्रस्ताव लाने का प्रयास करेंगे.

रिपोर्ट : जगरनाथ/अंकित, गुमला.

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें