28.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

झारखंड: बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने रेणुका तिवारी के उपन्यास ‘अलविदा लाल सलाम’ का किया लोकार्पण

Advertisement

वरिष्ठ साहित्यकार प्रोफेसर अशोक प्रियदर्शी ने कहा कि अलविदा लाल सलाम उपन्यास के लिए लेखिका रेणुका तिवारी को सलाम करता हूं, जिन्होंने ऐसे शीर्षक को चुना, जिसके लिए अदम्य साहस और संवेदनशील लेखनी की जरूरत थी और मुझे ख़ुशी है कि रेणुका तिवारी ने ये दोनों कार्य बखूबी निभाया है

Audio Book

ऑडियो सुनें

रांची: झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री व भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने रांची सिटीजन फोरम के तत्वावधान में रांची प्रेस क्लब में रविवार को रेणुका तिवारी के उपन्यास ‘अलविदा लाल सलाम’ का लोकार्पण किया. बाबूलाल मरांडी ने कहा कि नक्सलवाद देश की एक प्रमुख समस्या है और इसे दूर करने के लिए प्रशासनिक प्रयास के साथ-साथ ऐसे साहित्य प्रयास के लिए लेखिका रेणुका तिवारी को बहुत-बहुत धन्यवाद. उन्होंने कहा कि लेखन का उद्देश्य केवल मनोरंजन करना नहीं, बल्कि राष्ट्र निर्माण भी होना चाहिए. इस मौके पर पूर्वी जमशेदपुर के विधायक सरयू राय, वरिष्ठ साहित्यकार प्रोफेसर अशोक प्रियदर्शी, पूर्व पुलिस महानिरीक्षक अरुण सिंह और रांची सिटीजन फोरम के अध्यक्ष दीपेश निराला समेत अन्य मौजूद थे.

- Advertisement -

लाल सलाम जैसे विषय पर लिखना बहादुरी का कार्य

पूर्व पुलिस महानिरीक्षक अरुण सिंह ने कहा कि लाल सलाम जैसे विषय पर उपन्यास लिखना सचमुच बहादुरी का कार्य है. उन्होंने अपने अनुभवों को साझा करते हुए बताया कि हमें सिस्टम की उन खामियों को दूर करना होगा, जिससे लोग नक्सली बनते हैं. साथ ही नक्सलियों को मुख्यधारा में लाने का प्रयास करना होगा. रांची सिटीजन फोरम के अध्यक्ष दीपेश निराला ने कहा कि झारखंड में नक्सलवाद एक बड़ी समस्या है, जिसके कारण बहुत जगहों पर विकास प्रभावित हो रहा है. इस उपन्यास में इस समस्या के हल की बात कही गयी है जो निश्चय ही राष्ट्र और साहित्य को एक नयी दिशा प्रदान करेगा.

Also Read: जमशेदपुर में भोजपुरी साहित्य सम्मेलन का समापन, झारखंड में भोजपुरी को द्वितीय राजभाषा का दर्जा देने की मांग

रेणुका तिवारी ने नक्सलवाद का स्याह पक्ष किया है चित्रित

वरिष्ठ साहित्यकार प्रोफेसर अशोक प्रियदर्शी ने कहा कि अलविदा लाल सलाम उपन्यास के लिए लेखिका रेणुका तिवारी को सलाम करता हूं, जिन्होंने ऐसे शीर्षक को चुना, जिसके लिए अदम्य साहस और संवेदनशील लेखनी की जरूरत थी और मुझे ख़ुशी है कि रेणुका तिवारी ने ये दोनों कार्य बखूबी निभाया है. उन्होंने कहा कि लेखक ने उपन्यास में नक्सलवाद के स्याह पक्ष को बड़े ही मार्मिक ढंग से चित्रित किया है.

Also Read: झारखंड: खरसावां शहीद दिवस की 75वीं वर्षगांठ पर राष्ट्रीय विचार मंथन का समापन, हैदराबाद में होगा अगला सम्मेलन

उपन्यास का नायक है करमजोत मुर्मू

लेखिका रेणुका तिवारी ने विषय प्रवेश करते हुए बताया कि यह उपन्यास देश के विभिन्न हिस्सों में पल रहे अतिवादी विचारधारा नक्सलवाद की असलियत और उससे एक नक्सली कमांडर के मोहभंग होने की कहानी है जो अंततः लोकतंत्र की ताकत को समझता है और मुख्यधारा में वापसी का संकल्प करता है. उन्होंने कहा कि उपन्यास के नायक करमजोत मुर्मू का नक्सली दुनिया से बाहर आने का द्वंद्व बेहद मर्मस्पर्शी है जो पाठकों को बेहद पसंद आएगा. उपन्यास को सामायिक प्रकाशन ने प्रकाशित किया है. लोकार्पण समारोह में अतिथियों का स्वागत अधिवक्ता सत्येंद्र प्रसाद सिंह ने किया. समारोह में मंच संचालन की भूमिका मृदुला ने निभाई. धन्यवाद ज्ञापन सुशील लाल द्वारा किया गया.

Also Read: झारखंड: पंडिपुरिंग जलप्रपात में डूबने से कोचिंग संचालक की मौत, दो छात्र बाल-बाल बचे, पिकनिक मनाने आए थे 40 लोग

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें