21.2 C
Ranchi
Saturday, February 8, 2025 | 07:42 pm
21.2 C
Ranchi

BREAKING NEWS

दिल्ली में 5 फरवरी को मतदान, 8 फरवरी को आएगा रिजल्ट, चुनाव आयोग ने कहा- प्रचार में भाषा का ख्याल रखें

Delhi Assembly Election 2025 Date : दिल्ली में मतदान की तारीखों का ऐलान चुनाव आयोग ने कर दिया है. यहां एक ही चरण में मतदान होंगे.

आसाराम बापू आएंगे जेल से बाहर, नहीं मिल पाएंगे भक्तों से, जानें सुप्रीम कोर्ट ने किस ग्राउंड पर दी जमानत

Asaram Bapu Gets Bail : स्वयंभू संत आसाराम बापू जेल से बाहर आएंगे. सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है.

Oscars 2025: बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप, लेकिन ऑस्कर में हिट हुई कंगुवा, इन 2 फिल्मों को भी नॉमिनेशन में मिली जगह

Oscar 2025: ऑस्कर में जाना हर फिल्म का सपना होता है. ऐसे में कंगुवा, आदुजीविथम और गर्ल्स विल बी गर्ल्स ने बड़ी उपलब्धि हासिल करते हुए ऑस्कर 2025 के नॉमिनेशन में अपनी जगह बना ली है.
Advertisement

गढ़वा : दो दशक बाद भी आवासीय बालिका विद्यालय में शुरू नहीं हुई पढ़ाई

Advertisement

उल्लेखनीय है कि प्रखंड मुख्यालय स्थित उच्च विद्यालय में अध्ययनरत छात्राएं चार से पांच किमी की दूरी तय कर पढ़ने जाती हैं. यदि आवासीय विद्यालय में पढाई होती, तो छात्राएंं विद्यालय में ही रहकर शिक्षा ग्रहण कर सकती थीं.

Audio Book

ऑडियो सुनें

अनुप जायसवाल, धुरकी : धुरकी प्रखंड मुख्यालय से महज 500 फीट की दूरी पर कर्पूरी चौपाल के समीप छात्राओं के लिए आवासीय उच्च विद्यालय बना था. पर आज तक यहां पढ़ाई शुरू नहीं हो पायी है. वित्तीय वर्ष 2002-03 में तीन लाख की लागत से बने इस विद्यालय का उद्घाटन झारखंड के प्रथम राज्यपाल प्रभात कुमार ने किया था. उद्देश्य यह था कि प्रखंड की छात्राएं आवासीय विद्यालय में रहकर पढ़ाई कर सकें. लेकिन विद्यालय निर्माण के 20 साल बाद भी प्रखंड की छात्राओं को आवासीय शिक्षा की सुविधा उपलब्ध नहीं हो सकी है. दो दशक बाद भी इस विद्यालय में किसी शिक्षक की नियुक्ति नहीं हुई.

- Advertisement -

उल्लेखनीय है कि प्रखंड मुख्यालय स्थित उच्च विद्यालय में अध्ययनरत छात्राएं चार से पांच किमी की दूरी तय कर पढ़ने जाती हैं. यदि आवासीय विद्यालय में पढाई होती, तो छात्राएंं विद्यालय में ही रहकर शिक्षा ग्रहण कर सकती थीं. इधर विद्यालय में पढ़ाई नहीं होने के कारण व रख-रखाव के अभाव में यह विद्यालय गांव के आवारा पशुओं का बसेरा बना हुआ है. विद्यालय भवन के इर्द-गिर्द कचरा भरा है. उपयोग व देखरेख के अभाव में विद्यालय का भवन भी जर्जर होने लगा है. विद्यालय में लगाये गये दरवाजे व खिड़कियां खराब हो रहे हैं.

Also Read: गढ़वा में श्रमदान कर सड़क बनाने पर ग्रामीणों को धमकी, आक्रोशित लोगों ने दिया धरना
अभिभावकों की उम्मीद समाप्त :

इस संबंध में अभिभावकों का कहना है कि जब यह विद्यालय भवन बना था, तो वह बड़े खुश हुए थे. प्रखंड के छह गांव खाला, धुरकी, करवापहाड़, कुम्बा कला, धोबनी और शक्ति गांव की छात्राअों को पढ़ने की सुविधा उपलब्ध हो जाती. लेकिन अब वे पूरी तरह से निराश हो चुके हैँ. ग्रामीण श्याम किशोर विश्वकर्मा, मुन्ना चंद्रवंशी, मनदीप प्रसाद गुप्ता, इस्लामुद्दीन अंसारी, दीपक सिंह व तेजू कोरवा ने कहा कि विद्यालय बनने से उन्हें उम्मीद जगी थी कि गांव से धुरकी जाकर उच्च विद्यालय में जो छात्राएं पढ़ाई कर रही हैं, अब उन्हें आवासीय विद्यालय में रहकर पढ़ाई करने की सुविधा उपलब्ध होगी. लेकिन निर्माण से आज तक इस विद्यालय में पढ़ाई नहीं होना छात्राओं एवं उनके परिवार के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है.

वरीय पदाधिकारी को लिखा जायेगा : बीइइओ

इस संबंध मे पूछे जाने पर प्रभारी प्रखंड शिक्षा प्रसार पदाधिकारी (बीइइओ) प्रभा देवी ने कहा कि यह मामला काफी पुराना है. उन्हें इसके बारे में पूरी जानकारी नहीं है. पर विद्यालय की स्थिति तथा यहां पढ़ाई शुरू हो सके, इसके लिए वरीय पदाधिकारी को लिखा जायेगा. वहां से जो मार्गदर्शन मिलेगा, उसके अनुरूप आगे का कार्य किया जायेगा.

ट्रेंडिंग टॉपिक्स

Advertisement
Advertisement
Advertisement

Word Of The Day

Sample word
Sample pronunciation
Sample definition
ऐप पर पढें